धरती पर झड़ें हुए
उदासी के पीले फूल
और ख़ुशी के सलमे-सितारे लेकर
मुलायम हरी अमरबेल के सहारे
होते हुए कुछ शब्द
ऊपर चढ़ने में सफल हो सके
देखते ही देखते
कविता का आसमान नीला हो गया
धरती पर झड़ें हुए
उदासी के पीले फूल
और ख़ुशी के सलमे-सितारे लेकर
मुलायम हरी अमरबेल के सहारे
होते हुए कुछ शब्द
ऊपर चढ़ने में सफल हो सके
देखते ही देखते
कविता का आसमान नीला हो गया