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किसान / निशान्त
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लेधे घाटौ खाय’र
खेती करै किसान
देख’र खुस होवां आपां
कै किŸाी जरणांळौ है
पण कण देख्यौ है-
मांय सूं
बो कित्तौ टूट्यो है
हार्यौ है।