भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
गोया / अन्द्रेय वज़निसेंस्की / विनोद दास
Kavita Kosh से
मैं गोया<ref>फ्रांसिस्को गोया मशहूर स्पेनी चित्रकार थे जिन्होंने अपने चित्रों में युद्ध की भयावहता को दिखाया था।</ref> हूँ
सुनसान जंगी मैदान का
मैं गोया हूँ
जब तक दुश्मन की नोकीली चोंच
खोद-खोदकर कोटर से मेरी आँखें निकाल न लें
तब तक मैं दुख हूँ
मैं जंग की जीभ हूँ
साल 1941 की बर्फ़बारी का
शहरी शोला हूँ
फाँसी पर लटकी
उस औरत की मैं गर्दन हूँ
जिसकी लाश एक सूने चौराहे पर घण्टी की तरह झूल रही है
मैं गोया हूँ
हे बद्दुआओं की बौछारो !
अचानक घुस आए मेहमानों की राख को
मैंने पश्चिम की ओर फेंक दिया है
और कभी ना भूले जा सकने वाले आसमान में
कीलों की तरह
हथौड़ी से ठोक दिए हैं सितारे
मैं गोया हूँ
अँग्रेज़ी से अनुवाद : विनोद दास
शब्दार्थ
<references/>