भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

तुम्हारा शब्द-कोश / प्रणय प्रियंवद

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

हिन्दी शब्दों के अर्थ उपलब्ध हैं। शब्द पर डबल क्लिक करें। अन्य शब्दों पर कार्य जारी है।

तुम एकाएक मुस्कुरा उठते
मारने लगते किलकारियाँ
तुम एकाएक रोने लगते, तब
माँ समझ जाती कि तुम
भूखे हो।
जब तुम और छोटे थे
तब एक ही जगह लगाते
टकटकी
अब तुम आँखें घुमाते हो
पहचानते हो आवाज़
करवट बदलना चाहते हो।
अब तुम रोते हो तो
मैं समझ जाता हूँ
तुम्हें चाहिए और प्यार
अब तुम्हें बहुत सोना पसंद नहीं
तुम्हें गोद पसंद है।