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दुनिया और मैं / नासिर अहमद सिकंदर
Kavita Kosh से
अपने रंग में रंग ली दुनिया
अपने रंग में रंग दी
मैं क्या करता
करता भी क्या
मेरा रंगरेज
छोड़ चुका धंधा पुश्तैनी
मेरा चित्रकार
गांव में रहता
कई दिनों से
बीमार पड़ा है ।