भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

प्यार चाहिए / नवल शुक्ल

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

प्यार चाहिए
कुछ नहीं चाहिए और।

स्वस्थ हैं कमाने-खाने के लिए हाथ
पचाने के लिए पेट
चलने के लिए पाँव
देखने-सुनने के लिए
खुली आँखें कान।

सहने, सतर्क रहने के लिए दोस्त
पढ़ने-सुनने के लिए
रेडियो,अख़बार
भांड
रखने के लिए मन--
बजाने के लिए पैसे।

रहने के लिए नहीं कोई मकान
अपन कतई नहीं महान।