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बच्चे / धर्मेन्द्र पारे

Kavita Kosh से
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स्कूल बन्द होने पर
बहुत ख़ुश होते हैं बच्चे

इतवार ख़ुशी का दिन
होता है उनका

कैरियाँ पक जाने पर
शिक्षकों के नाम ले-ले लेकर
पत्थर फ़ेंकते हैं वे
और बहुत आह्लादित होते हैं
बच्चे

बच्चों की दुनिया में
कई-कई बुरे नाम होते हैं
शिक्षकों और पाठों के

दो महिने के छुट्टियों में
अखिल ब्रह्माण्ड के
शहंशाह होते हैं वे
बंद स्कूल देख-देख
बहुत नाचते हैं बच्चे