Last modified on 28 जनवरी 2014, at 17:53

भगवान तो यहीं इस जहान म्हं मिलैगा / मुनीश्वर देव

भगवान तो यहीं इस जहान म्हं मिलैगा
मंदिर मैं मिले ना, बियावान म्हं मिलैगा

भंयकर बरसात म्हं, ओळों की मार म्हं
करता हुआ वो काम गर्मी गुव्वार म्हं
खेत म्हं मिलेगा, खलियाण म्हं मिलैगा

सरदी की सीत म्हं फुटपाथ पै वो सोता
होटलों की झूठी प्यालियों को धोता
हलवाई की किसी दुकान म्हं मिलैगा

समुद्र को चीरता वो पर्वतों पै चढ़ता
तूफान आंधियों म्हं आगे ही आगे बढ़ता
सरहदों पै युद्ध के मैदान म्हं मिलैगा

मृत्यु से हर जगह टकराता हुआ मिलैगा
वो दुश्मनों से लड़ने जाता हुआ कहीं
उड़ता हुआ जहाज पर आसमान म्हं मिलेगा

कूट कूट रोड़ी सड़को को वो बनाता
नहरें निकालता वो मशीन को चलाता
कोयले निकालता कहीं खान म्हं मिलैगा

बनाता हुआ स्वर्ग वो इस संसार को
सुनता हुआ वो क्रांतिकारी प्रचार को
“मुनिश्वर देव” के व्याख्यान म्हं मिलैगा