Last modified on 4 अगस्त 2019, at 03:16

मृतपक्षी को दफ़न करते / विस्टन ह्यु ऑडेन / नरेन्द्र जैन

कड़ी धरती के एक गड्‌ढे की ओर
मैं ले जाता हूँ उसे
प्‍लास्‍टिक की एक बाल्‍टी में

पक्षी की अकड़ी हुई देह
उठाता हूँ पूँछ से
चारों ओर से झरती मिट्टी के बीच
पैबस्‍त करते

और पंखों में प्रतीक्षारत सर्दियों में
सूखी मिट्टी, कँकड़ पत्‍थर और सूखी पत्तियों से
भर देता हूँ गड्‌ढे को

जैसे ही सम्पन्‍न होता है यह काम
बमुश्‍किल उठ खड़ा होता हूँ
एकाएक करता महसूस
अपनी पुरानी हड्डियों का हल्‍कापन

जब लौटता हूँ
घर की जानिब
एक ज़िद्‌दी मक्‍खी
लगातार मेरा पीछा करती है

मूल अँग्रेज़ी से अनुवाद : नरेन्द्र जैन