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चौपदियाँ / मुनव्वर राना

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उम्र एक तल्ख़ हक़ीकत है मुनव्वर फिर भी
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मियाँ ! मैं शेर हूँ, शेरों की गुर्राहट नहीं जाती,
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हमारी ज़िन्दगी का इस तरह हर साल कटता है
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