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15:27, 2 जुलाई 2014 {{KKGlobal}}
{{KKLokRachna
|भाषा=मैथिली
|रचनाकार=अज्ञात
|संग्रह= बियाह सँ द्विरागमन धरिक गीत / मैथिली लोकगीत संग्रह
}}
{{KKCatMaithiliRachna}}
<poem>सीता सहित रघुवर लागल दुअरिया हे, परीछू सखी
सखि सभी मंगल गाउ हे परीछू सखी
साजि लेल हारा-डाला, लेसि लेल दीप हे, परीछू सखी
हाथ कंगन सिया के पयर नूपुरबा हे परीछू सखी
कौशिल्या आरती उतारू हे परीछू सखी
पहिरन सिया के रेशमी पटोरिया हे परीछू सखी
घोघटमे रतन जड़ल दै हे परीछू सखी
निहुरि-निहुरि सिया घोघट सम्हारल हे परीछू सखी
उगि गेल पूनमक चान हे परीछू सखी
दस-पाँच सोहागिन मिलि आसीष देल हे परीछू सखी
जीबथु जोड़ी लाख बरीस हे परीछू सखी
सिया के रहनि अचल अहिबात हे परीछू सखी
</poem>