भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
Changes
Kavita Kosh से
* [[गर्दिश ने दबाया कभी गर्दूं ने उछाला / कांतिमोहन 'सोज़']]
* [[गुजरात मेरे ज़ेह्न से उतरे तो कहूँ कुछ / कांतिमोहन 'सोज़']]
* [[गो बिला बालोपर चला हूँ मैं / कांतिमोहन 'सोज़']]
* [[चारागर क़ौम के नावाक़िफ़े-आज़ार न थे / कांतिमोहन 'सोज़']]
* [[चेहरे पे कुछ तनाव हो माथे पे बल पड़े / कांतिमोहन 'सोज़']]