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कच्चे धागे से बंधे रिश्ते / श्याम सखा 'श्याम'
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01:13, 20 दिसम्बर 2008
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<Poem>
कच्चे धागे से बंधे रिश्तेरिश्ते
रिश्ते
हाँ दोस्तो
रिश्ते कई तरह के होते हैं
अनूप.भार्गव
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