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[[Category:गज़ल]]
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हमारे शौक़ की ये इन्तिहा थी
क़दम रखा कि मंज़िल रास्ता थी
हमारे शौक़ की ये इन्तिहा थी<br>कभी जो ख़्वाब था वो पा लिया हैक़दम रखा कि मंज़िल रास्ता मगर जो खो गई वो चीज़ क्या थी<br><br>
कभी जो ख़्वाब था वो पा लिया मोहब्बत मर गई मुझको भी ग़म है<br>मगर जो खो गई वो चीज़ क्या मेरे अच्छे दिनों की आशना थी<br><br>
मोहब्बत मर गई मुझको भी ग़म है<br>जिसे छू लूँ मैं वो हो जाये सोनामेरे अच्छे दिनों की आशना तुझे देखा तो जाना बद्दुआ थी<br><br>
जिसे छू लूँ मैं वो हो जाये सोना<br>तुझे देखा तो जाना बद्दुआ थी<br><br> मरीज़े-ख़्वाब को तो अब शफ़ा है<brref>आराम, रोग से मुक्ति</ref> हैमगर दुनिया बड़ी कड़वी दवा थी<br><br><br/poem> शफ़ा=आराम, रोग से मुक्ति<br><br>{{KKMeaning}}