aroma 02:29, 13 फरवरी 2010 (UTC)आशा है आप स्वस्थ व प्रसन्न होंगे।होंग--[[सदस्य:सम्यक|सम्यक]] ०६:२३, १४ दिसम्बर २००९ (UTC)'''
== री-अपलोड ==
'''--[[सदस्य:सम्यक|सम्यक]] ०६:२३प्रिय धर्मेंद्र, १४ दिसम्बर २००९ (UTC)'''
== चित्रों के नये वर्ज़न को अपलोड करने (यानि री-अपलोड करने) का अधिकार भी कविता कोश में केवल कुछ योगदानकर्ताओं को ही दिया गया है। जब कभी भी आपको री-अपलोड करने की ज़रूरत पड़े तो मुझे लिखियेगा। मैं आपको यह अधिकार देने में सक्षम हूँ। अधिकार मिल जाने के बाद आपको बस इतना करना है कि जिस नाम से चित्र पहले से मौजूद है '''बिल्कुल उसी नाम''' का नया वर्ज़न अपलोड करें। सिस्टम आपसे कहेगा कि इस नाम से एक फ़ाइल पहले ही अपलोड की जा चुकी है -क्या क्या इस फ़ाइल का नया वर्ज़न अपलोड करना चाहते हैं? आपको हाँ कहना है और नया वर्ज़न अपलो````सदस्य:सम्यक|सम्यक]] १२:०६, १४ दिसम्बर २००९ (UTC)''' == चित्रों के नाम... == धर्मेन्द्र, कृपया अपलोड किये जाने वाले चित्रों के नाम अंग्रेज़ी अक्षरों में ही लिखें। इस समय वैसे कोई समस्या नहीं है -लेकिन संभव है कि भविष्य में हिन्दी नाम वाली फ़ाइल्स को किसी और काम के लिये प्रयोग करते समय कोई समस्या आए। धन्यवाद aroma 02:30, 13 फरवरी 2010 (UTC)[[सदस्य:सम्यक|सम्यक]] ०६:४३, २४ दिसम्बर २००९ (UTC)''' धर्मेन्द्र जी!रंजना भाटिया को असुरक्षित कर दिया है।--[[सदस्य:अनिल जनविजय|अनिल जनविजय]] ०७:५१, २५ दिसम्बर २००९ (UTC) धर्मेन्द्र जी !चन्द्रभूषण को असुरक्षित कर दिया है।--[[सदस्य:अनिल जनविजय|अनिल जनविजय]] १५:१९, २५ दिसम्बर २००९ (UTC) धर्मेन्द्र जी !देवी नांगरानी, शार्दुला नोगजा और कविता वाचक्नवी को असुरक्षित कर दिया है।--[[सदस्य:अनिल जनविजय|अनिल जनविजय]] १५:५०, २५ दिसम्बर २००९ (UTC) == पन्नों के नाम बदलना ==
प्रिय धर्मेंद्र,
चित्रों आप कविता कोश में पहले से उपस्थित पन्नों की त्रुटियों को सुधारने का महत्वपूर्ण काम कर रहे हैं। इसी संबंध में आप बहुत से पन्नों के नये वर्ज़न नाम भी बदल रहे हैं; लेकिन ऐसा करते समय आप उस पन्नें की ओर जाने वाले लिंक को अपलोड करने नहीं बदल रहे हैं। उदाहरण के लिये आपने "जलसाघर(यानि री-अपलोड करनेकविता) / श्रीकांत वर्मा" का अधिकार भी नाम बदलकर "जलसाघर (कविता कोश ) / श्रीकांत वर्मा" कर दिया गया है। लेकिन श्रीकांत वर्मा के "जलसाघर" नामक संग्रह पर इस कविता के लिंक में केवल कुछ योगदानकर्ताओं को आपने यह बदलाव नहीं किया। लिंक अभी भी "जलसाघर(कविता) / श्रीकांत वर्मा" की ओर ही दिया जाता है (और फिर वहाँ से redirect हो कर नये नाम वाले पन्ने तक पहुँचता है)। यदि आप लिंक्स भी बदल देंगे तो बेहतर होगा। '''--[[सदस्य:सम्यक|सम्यक]] 09:10, 29 दिसम्बर 2009 (UTC)''' ===टीम के सदस्य===बन्धुवर,आपने यह नोट कर लिया होगा कि आपको कविताकोश टीम का सहयोगी सदस्य बना लिया गया है। जब कभी जल्दी ही कुछ आवश्यक अधिकार भी आपको रीसौंप दिए जाएंगे। लेकिन उससे पहले टीम की एक मीटिंग में सब तय करना होगा। इसलिए इस काम में थोड़ा समय लगेगा। आशा है, आप थोड़ा-अपलोड करने सा धीरज रखेंगे।सादर--[[सदस्य:अनिल जनविजय|अनिल जनविजय]] 21:53, 1 जनवरी 2010 (UTC) == नाम बदलते समय नाम में उपस्थित त्रुटियों को भी ठीक करते जाएँ == प्रिय धर्मेन्द्र जी, आशा है आप सकुशल है , कृपया नाम बदलते समय नाम में उपस्थित त्रुटियों को भी ठीक करते जाएँ , ज़्यादातर ये त्रुटियाँ अनावश्यक चन्द्र बिंदु के प्रयोग या उर्दू के शब्दों के गलत प्रयोग की ज़रूरत पड़े तो मुझे लिखियेगा। हैं जैसे अभी रघुनाथ जी के कविता में ----------------- भातें में, तें में चन्द्र बिंदी का प्रयोग था जो कि गलत था, ऐसे ही अभी आपने सूरदास जी की एक रचना के नाम को बदला है जिसमें मैं आपको यह अधिकार , में बिंदी की जगह चन्द्र बिंदु का प्रयोग हैसाथ-साथ ठीक करते जाने से समय और मेहनत दोनों का सदुपयोग हो सकेगाकृपया छंद में कविता की श्रेणी देने से पहले एक बार इस विषय पर अनिल जी से चर्चा कर लेमेरे विचार से छंद जो की चार पंक्तियों का है वो कविता की श्रेणी में सक्षम हूँ। नहीं जाना चाहिए बाकि अनिल जी भाषा के विद्वान् है वही ज्यादा बेहतर बता सकते हैं सादर--[[सदस्य:Shrddha|Shrddha]] 08:33, 2 जनवरी 2010 (UTC) == नये अधिकार मिल जाने == प्रिय धर्मेंद्र, [[कविता कोश टीम]] के बाद आदेश पर आपको बस इतना निम्नलिखित अधिकार प्रदान किये गए हैं: * पन्नों को डीलीट करना * चित्रों को री-अपलोड करना* पन्नों को सुरक्षित व असुरक्षित करना आशा है कि जिस नाम से चित्र पहले से मौजूद आप इन अधिकारों का समुचित प्रयोग करेंगे। आपको कविता कोश टीम ने सहयोगी सदस्य बनाया है इसके लिये आपको हार्दिक बधाई। '''बिल्कुल उसी नाम--[[सदस्य:सम्यक|सम्यक]] 08:49, 2 जनवरी 2010 (UTC)''' प्रिय धर्मेन्द्र जी!’कविता’ श्रेणी में यद्यपि सभी कविताएँ आती हैं, लेकिन हमने कोश में ये श्रेणियाँ कुछ दूसरे ढंग से विभाजित की हुई हैं। अभी तक यह विभाजन का नया वर्ज़न अपलोड करें। सिस्टम आपसे कहेगा कि इस नाम काम पूरा नहीं किया है। लेकिन अब आपकी सहायता से एक फ़ाइल पहले इस काम को कर डालते हैं। अभी तक जो श्रणियाँ हैं, वे इस प्रकार हैं : <nowiki>{{KKCatNazm}}</nowiki><nowiki>{{KKCatKataa}}</nowiki><nowiki>{{KKCatKavita}}</nowiki><nowiki>{{KKCatGeet}}</nowiki><nowiki>{{KKCatGhazal}}</nowiki><nowiki>{{KKShayar}}</nowiki><nowiki>{{KKCatMahilaRachnakar}}</nowiki><nowiki>{{KKCatNavgeetkaar}}</nowiki><nowiki>{{KKCatNavgeet}}</nowiki>जल्दी ही अपलोड दूसरी श्रणियाँ भी तय कर लेंगे। श्रद्धा, आप और मैं मिलकर इस काम को कर लेते हैं। इस बारे में आप भी सोचिए, मैं भी सोचता हूँ और श्रद्धा को भी कह देता हूँ। उसके बाद मिलकर तय कर लेंगे। दो सप्ताह का समय हमारे पास है।सादर--[[सदस्य:अनिल जनविजय|अनिल जनविजय]] 09:05, 2 जनवरी 2010 (UTC) == KKGlobal == प्रिय धर्मेंन्द्र, आपने KKGlobal में जो बदलाव किया है वह ठीक है। लेकिन कृपया KKGlobal या उसमें इस्तेमाल की जा चुकी गयी अन्य टेम्प्लेट्स को ऐसी छोटी बातों के लिये ना बदलें। आपने ऐसा किया क्योंकि आपको जानकारी नहीं थी कि जब भी किसी टेम्प्लेट में बदलाव किया जाता है तो सर्वर उन सभी पन्नों को एक-क्या क्या एक करके बदलता है जिनमें वह टेम्प्लेट प्रयोग की गयी है। इसलिये अगर KKParichay में कोई बदलाव होगा तो तकरीबन 1100 पन्नें बदलें जाएंगे और यदि KKGlobal या उससे जड़ी कोई भी टेम्प्लेट बदली जाती है तो (इस फ़ाइल समय) 26,000 से ज़्यादा पन्नों में बदलाव होंगे। इससे सर्वर पर फ़िज़ूल भार पड़ता है। 26,000 पन्नों को बदलने में सर्वर 10 से 20 घंटे का नया वर्ज़न अपलोड करना चाहते हैं? आपको हाँ कहना समय लेता है। KKGlobal एक अति महत्वपूर्ण टेम्प्लेट है। इसमें बदलाव बहुत सोच-समझ कर किये जाने चाहिये। कई बार मुझे इन टेम्प्लेट्स में फ़िज़ूल या बहुत छोटे बदलाव Save करने के लिये मजबूर होना पड़ता है क्योंकि उस समय मैं कोई experiment कर रहा होता हूँ और नया वर्ज़न अपलोड हो जाएगा।कई बार ऐसा होता है कि बिना Save किये उस प्रयोग के नतीज़े नहीं दिखाई देते। अन्यथा मैं किसी भी पन्नें को केवल तब Save करता हूँ जब मैं उसमें वो सभी बदलाव एक साथ कर लूं जो मैं करना चाहता हूँ। आशा है यह जानकारी लाभदायक सिद्ध हो्गी।
'''--[[सदस्य:सम्यक|सम्यक]] 07:22, 4 जनवरी 2010 (UTC)'''
'''ओह्ह मुझे लगा कि त्रुटि है दीख तो वर्तनी अशुद्धि में आएगा, दीख नहीं होता है दिख होता हैमगर आपने किताब में देखा है तो ज़रूर सही होगाशुक्रिया आपने इसे फिर से ठीक कर दियासादरश्रद्धा --[[सदस्य:सम्यकShrddha|सम्यकShrddha]] १२14:०६31, १४ दिसम्बर २००९ 4 जनवरी 2010 (UTC)'''`aroma