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"ओळ्यूं-4 / पूर्ण शर्मा पूरण" के अवतरणों में अंतर

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म्हारै काळजै मांय  
 
अंधारै रो रूं रूं टूटै
 
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स्यात...
 
स्यात...
 
कोई किरंण फूटै।</poem>
 
कोई किरंण फूटै।</poem>

12:59, 16 अक्टूबर 2013 के समय का अवतरण

म्हारै काळजै मांय
अंधारै रो रूं रूं टूटै
स्यात...
कोई किरंण फूटै।