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"चम्पई आकाश तुम हो / केदारनाथ अग्रवाल" के अवतरणों में अंतर

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चम्पई आकाश तुम हो
 
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हम जिसे पाते नहीं
 
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बस देखते हैं ;
 
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रेत में आधे गड़े
 
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आलोक में आधे खड़े ।
 
आलोक में आधे खड़े ।
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11:09, 15 अप्रैल 2011 के समय का अवतरण

चम्पई आकाश तुम हो
हम जिसे पाते नहीं
बस देखते हैं ;
रेत में आधे गड़े
आलोक में आधे खड़े ।