भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
"प्रमोद कौंसवाल" के अवतरणों में अंतर
Kavita Kosh से
पंक्ति 7: | पंक्ति 7: | ||
|जन्मस्थान=टिहरी गढ़वाल, उत्तरप्रदेश, भारत | |जन्मस्थान=टिहरी गढ़वाल, उत्तरप्रदेश, भारत | ||
|कृतियाँ= [[अपनी ही तरह का आदमी / प्रमोद कौंसवाल| अपनी ही तरह का आदमी]] (1991), रूपिन-सूपिन (2001) | |कृतियाँ= [[अपनी ही तरह का आदमी / प्रमोद कौंसवाल| अपनी ही तरह का आदमी]] (1991), रूपिन-सूपिन (2001) | ||
− | |विविध= | + | |विविध= इतिहास संदर्भ कोश, रात की चीख़ (विश्व के प्रमुख 14 कहानीकारों की रचनाओं का अनुवाद), सुरों की सोहबत में (भारत का समकालीन संगीत-नृत्य) |
|अंग्रेज़ीनाम=Pramod Konswal, Kaunswal | |अंग्रेज़ीनाम=Pramod Konswal, Kaunswal | ||
|जीवनी=[[प्रमोद कौंसवाल / परिचय]] | |जीवनी=[[प्रमोद कौंसवाल / परिचय]] |
13:12, 17 अगस्त 2008 का अवतरण
प्रमोद कौंसवाल
जन्म | 20 दिसम्बर 1966 |
---|---|
जन्म स्थान | टिहरी गढ़वाल, उत्तरप्रदेश, भारत |
कुछ प्रमुख कृतियाँ | |
अपनी ही तरह का आदमी (1991), रूपिन-सूपिन (2001) | |
विविध | |
इतिहास संदर्भ कोश, रात की चीख़ (विश्व के प्रमुख 14 कहानीकारों की रचनाओं का अनुवाद), सुरों की सोहबत में (भारत का समकालीन संगीत-नृत्य) | |
जीवन परिचय | |
प्रमोद कौंसवाल / परिचय |
- अपनी ही तरह का आदमी / प्रमोद कौंसवाल (कविता संग्रह)
- तुम्हारा नाम सुनकर / प्रमोद कौंसवाल
- शहर में डर / प्रमोद कौंसवाल
- विषयवस्तु / प्रमोद कौंसवाल
- कमरे में कुछ दोस्त / प्रमोद कौंसवाल
- फैसला / प्रमोद कौंसवाल
- चलते-चलते / प्रमोद कौंसवाल
- कहाँ है हमारी जगह / प्रमोद कौंसवाल
- जब आप हँसे / प्रमोद कौंसवाल
- कठोर धरती / प्रमोद कौंसवाल
- आईने के सामने / प्रमोद कौंसवाल
- पुनश्च / प्रमोद कौंसवाल
- किस बात की जल्दी / प्रमोद कौंसवाल
- शहर में बेख़बर / प्रमोद कौंसवाल
- मैं क्यों आत्ममुग्ध / प्रमोद कौंसवाल
- खुले मे क़ैद / प्रमोद कौंसवाल
- सहमति / प्रमोद कौंसवाल
- इंटरव्यू / प्रमोद कौंसवाल
- आदमी एक शब्द है / प्रमोद कौंसवाल
- लोमड़ी का शहर / प्रमोद कौंसवाल
- टिहरी बांध के विषय में
- मैं कहता रहा / प्रमोद कौंसवाल
- विराट एशिया की सबसे विराट परियोजना / प्रमोद कौंसवाल
- पारिवारिक तनाव / प्रमोद कौंसवाल
- लो कितना शानदार है / प्रमोद कौंसवाल
- दो नदियां हैं / प्रमोद कौंसवाल
- वसूली की अब चिंताएं बढ़ गईं / प्रमोद कौंसवाल
- वे जो उजड़ गए / प्रमोद कौंसवाल
- क्यों नहीं गए / प्रमोद कौंसवाल
- कुछ शब्द भूल जाओ / प्रमोद कौंसवाल
- तो सुन लीजिए अब / प्रमोद कौंसवाल