भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
"दीपक मेघ हिंडोल / अमरेन्द्र" के अवतरणों में अंतर
Kavita Kosh से
Rahul Shivay (चर्चा | योगदान) ('{{KKGlobal}} {{KKPustak |चित्र= |नाम=दीपक मेघ हिंडोल |रचनाकार=अमरे...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) |
Rahul Shivay (चर्चा | योगदान) |
||
पंक्ति 33: | पंक्ति 33: | ||
* [[आज वन में कुहुक बोले / अमरेन्द्र]] | * [[आज वन में कुहुक बोले / अमरेन्द्र]] | ||
* [[आज चंचल मन सभी के / अमरेन्द्र]] | * [[आज चंचल मन सभी के / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[चोट जितने हों, हरे हों / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[दुःख जहाँ गहरा हुआ है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[देहरी-घर और आँगन / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[सो भी जाओ गीत मेरे / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[झर झरो पावस सजीले / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[जो भी हो जैसा समर हो / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[आधियों में शष्य-घर हूँ / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[दुःख किसी से क्या कहूँ मैं / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[आपबीती क्या सुनाएँ / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[उड़ रहा मन मेघ बन कर / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[चल कहीं पर, दूर बस लें / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[तुम पुकारोगे जो मन से / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[है दिये की रोशनी, पर / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[आ गया फिर गीत ले कर / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[वह रहा मेरा ही घर है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[सुख कहीं है, यह भरम है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[चाहता तो मन यही है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[कौन-सी यह बात मन में / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[काँपता संसार, देवी / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[गुनगुनी-सी धूप आई / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[सब नहीं वह पीर जाने / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[क्यों हमेशा मन डरा-सा / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[कब तलक उत्सव मनाऊँ / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[मधु पिए मधुमास आया / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[फिर तुम्हारी याद आई / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[तन नदी हो, मन नदी हो / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[कौन भारत देश जैसा / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[रात ही क्या, दिन उपासी / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[आ गई कैसी सदी है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[यह अकेले का सफर है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[चाँद में कैसा गहन है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[भावना होगी कँवल-सी / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[दिन हुए ऐसे नुकीले / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[खिलखिला कर अब हँसो तुम / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[फूल के दिन, दिन कली के / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[बरगदों की छाँव बोले / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[रात है तो क्या, चले चल / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[स्वर बुनो मधुमय समय के / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[तुम तृषा के नीर-पानी / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[यह नहीं होगा मरूँ मैं / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[बालियां, ये बेटियां हैं / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[नींद नीले देश की तुम / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[आ गयी नीली नदी फिर / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[यह हिमानिल रात कम्पित / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[कंठ कोकिल का भी थिर है / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[तप रहा है चैत का मन / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[जेठ लगता आज फागुन / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[तप रहा है अब दिवस जो / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[धूप बरसो, खूब बरसो / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[पत्र का गिरना, हहरना / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[काट लूँगा ये बचे दिन / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[आ गया बेकार चल कर / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[सोच, मत हो चित्त चंचल / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[हो धरा यह शांत शीतल / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[माँ, मुझे अपनी शरण दो / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[छाया नर की दिखी प्रेत में / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[लौट के आया गाँव-गाँव से / अमरेन्द्र]] | ||
+ | * [[यह मेरा घर नहीं है / अमरेन्द्र]] |
15:56, 24 जनवरी 2017 का अवतरण
दीपक मेघ हिंडोल
क्या आपके पास इस पुस्तक के कवर की तस्वीर है?
कृपया kavitakosh AT gmail DOT com पर भेजें
कृपया kavitakosh AT gmail DOT com पर भेजें
रचनाकार | अमरेन्द्र |
---|---|
प्रकाशक | |
वर्ष | 2012 |
भाषा | |
विषय | |
विधा | |
पृष्ठ | 96 |
ISBN | |
विविध |
इस पन्ने पर दी गई रचनाओं को विश्व भर के स्वयंसेवी योगदानकर्ताओं ने भिन्न-भिन्न स्रोतों का प्रयोग कर कविता कोश में संकलित किया है। ऊपर दी गई प्रकाशक संबंधी जानकारी छपी हुई पुस्तक खरीदने हेतु आपकी सहायता के लिये दी गई है।
- मेघ गरजा रात भर है / अमरेन्द्र
- और कितनी पीर पालूँ / अमरेन्द्र
- डीह से कैसे विसर लूँ / अमरेन्द्र
- खिलखिलाता था अभी मन / अमरेन्द्र
- नाच मेरे भाव छम-छम / अमरेन्द्र
- मैं न जानूं आह कैसी / अमरेन्द्र
- यह निशा, यह भोर क्या है / अमरेन्द्र
- चाँद गाओ गीत फिर से / अमरेन्द्र
- सृष्टि जिसकी ज्योति-छाया / अमरेन्द्र
- शक्ति की आधार देवी / अमरेन्द्र
- बिजलियाँ-घन गरज बरसे / अमरेन्द्र
- सुप्त मेरे प्राण जागो! / अमरेन्द्र
- मन उदासी तान आया / अमरेन्द्र
- मन वही फिर गीत गाए / अमरेन्द्र
- चुप्पियों के लगे झूले / अमरेन्द्र
- तीर पर ही नाव दहले / अमरेन्द्र
- जाग मेरे देश फिर से / अमरेन्द्र
- पूछना है क्या किसी से / अमरेन्द्र
- आज वन में कुहुक बोले / अमरेन्द्र
- आज चंचल मन सभी के / अमरेन्द्र
- चोट जितने हों, हरे हों / अमरेन्द्र
- दुःख जहाँ गहरा हुआ है / अमरेन्द्र
- देहरी-घर और आँगन / अमरेन्द्र
- सो भी जाओ गीत मेरे / अमरेन्द्र
- झर झरो पावस सजीले / अमरेन्द्र
- जो भी हो जैसा समर हो / अमरेन्द्र
- आधियों में शष्य-घर हूँ / अमरेन्द्र
- दुःख किसी से क्या कहूँ मैं / अमरेन्द्र
- आपबीती क्या सुनाएँ / अमरेन्द्र
- उड़ रहा मन मेघ बन कर / अमरेन्द्र
- चल कहीं पर, दूर बस लें / अमरेन्द्र
- तुम पुकारोगे जो मन से / अमरेन्द्र
- है दिये की रोशनी, पर / अमरेन्द्र
- आ गया फिर गीत ले कर / अमरेन्द्र
- वह रहा मेरा ही घर है / अमरेन्द्र
- सुख कहीं है, यह भरम है / अमरेन्द्र
- चाहता तो मन यही है / अमरेन्द्र
- कौन-सी यह बात मन में / अमरेन्द्र
- काँपता संसार, देवी / अमरेन्द्र
- गुनगुनी-सी धूप आई / अमरेन्द्र
- सब नहीं वह पीर जाने / अमरेन्द्र
- क्यों हमेशा मन डरा-सा / अमरेन्द्र
- कब तलक उत्सव मनाऊँ / अमरेन्द्र
- मधु पिए मधुमास आया / अमरेन्द्र
- फिर तुम्हारी याद आई / अमरेन्द्र
- तन नदी हो, मन नदी हो / अमरेन्द्र
- कौन भारत देश जैसा / अमरेन्द्र
- रात ही क्या, दिन उपासी / अमरेन्द्र
- आ गई कैसी सदी है / अमरेन्द्र
- यह अकेले का सफर है / अमरेन्द्र
- चाँद में कैसा गहन है / अमरेन्द्र
- भावना होगी कँवल-सी / अमरेन्द्र
- दिन हुए ऐसे नुकीले / अमरेन्द्र
- खिलखिला कर अब हँसो तुम / अमरेन्द्र
- फूल के दिन, दिन कली के / अमरेन्द्र
- बरगदों की छाँव बोले / अमरेन्द्र
- रात है तो क्या, चले चल / अमरेन्द्र
- स्वर बुनो मधुमय समय के / अमरेन्द्र
- तुम तृषा के नीर-पानी / अमरेन्द्र
- यह नहीं होगा मरूँ मैं / अमरेन्द्र
- बालियां, ये बेटियां हैं / अमरेन्द्र
- नींद नीले देश की तुम / अमरेन्द्र
- आ गयी नीली नदी फिर / अमरेन्द्र
- यह हिमानिल रात कम्पित / अमरेन्द्र
- कंठ कोकिल का भी थिर है / अमरेन्द्र
- तप रहा है चैत का मन / अमरेन्द्र
- जेठ लगता आज फागुन / अमरेन्द्र
- तप रहा है अब दिवस जो / अमरेन्द्र
- धूप बरसो, खूब बरसो / अमरेन्द्र
- पत्र का गिरना, हहरना / अमरेन्द्र
- काट लूँगा ये बचे दिन / अमरेन्द्र
- आ गया बेकार चल कर / अमरेन्द्र
- सोच, मत हो चित्त चंचल / अमरेन्द्र
- हो धरा यह शांत शीतल / अमरेन्द्र
- माँ, मुझे अपनी शरण दो / अमरेन्द्र
- छाया नर की दिखी प्रेत में / अमरेन्द्र
- लौट के आया गाँव-गाँव से / अमरेन्द्र
- यह मेरा घर नहीं है / अमरेन्द्र