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गाने के लिए गया / केदारनाथ अग्रवाल

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पक्षी जो

एक अभी-अभी उड़ा

और एक बोलती लकीर-सा

अभी-अभी

नील व्योम-वक्ष में समा गया

गीत वहाँ

गाने के लिए गया

गाएगा

और लौट आएगा

पक्षी जो

एक अभी-अभी उड़ा ।