स्वस्ति, स्वस्ति तेरा आना !
ओ रोशनी की बेटी, आसमान की हरिणी, किरणों
के केश वाली ।
सपनों के आँचल वाली ! देवताओं की ईर्ष्या, मनुष्यों की आशा,
राक्षसों की विपत्ति ! अमीरों की अनदेखी, ग़रीबों की मसीहा !
विद्युत्-वर्णा ! वीणावादिनी ! शक्तिदा ! सुप्रभा !
स्वस्ति, स्वस्ति तेरा आना !