भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

हरापन / ज्यून तकामी

Kavita Kosh से
अनिल जनविजय (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 01:13, 29 नवम्बर 2007 का अवतरण (New page: {{KKGlobal}} {{KKAnooditRachna |रचनाकार=ज्यून तकामी |संग्रह=पहाड़ पर चढ़ना चाहते हैं सब / ज्...)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

मुखपृष्ठ  » रचनाकारों की सूची  » रचनाकार: ज्यून तकामी  » संग्रह: पहाड़ पर चढ़ना चाहते हैं सब
»  हरापन

एक दिन मैंने

अपने घर की खिड़की से

जब बगीचे में झाँका ।


ऎसा लगा अचानक

बांध लिया हो अपनी बाहों में जैसे

वो हरा वृक्ष बाँका ।