Last modified on 15 सितम्बर 2011, at 10:06

अचानक-2 / भास्कर चौधुरी

अनिल जनविजय (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 10:06, 15 सितम्बर 2011 का अवतरण (नया पृष्ठ: {{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=भास्कर चौधुरी |संग्रह= }} {{KKCatKavita}} <poem> ज्वालामुखी का …)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)

ज्वालामुखी का फटना
या ज़लज़ले का आना
फटना बादल का
या बिजली गिरना
चट्टानें खिसकना
या ग्लेशियरों का टूटना-बिखरना

ये सभी घटनाएँ
हो जाती हैं अचानक
कहीं भी
कभी भी

परमाणु भट्टी से
विकिरण का रिसना
हवा और पानी में ज़हर घुलना
और नदियों के रास्ते
समुद्र में मिलना

क्या होता है यह भी
अचानक...