Last modified on 18 अक्टूबर 2014, at 21:13

नाच का दरिया / प्रकाश

Kumar mukul (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 21:13, 18 अक्टूबर 2014 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=प्रकाश }} {{KKCatKavita}} <poem> नाच एक बहता हुआ ...' के साथ नया पन्ना बनाया)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)

नाच एक बहता हुआ दरिया था
उसमें काँपते हुए तिनके को थामना कठिन था

काँपता हुआ तिनका दरिया का नाच था
दरिया के नाच को थामना कठिन था

दरिया को छूना नाचते हुए नाच को छूना था
नाच को छूना नाचते हुए दरिया को छूना था

दरिया के किनारे से नाच को देखना कठिन था
कि नाचते हुए दरिया और नाच में कूद जाना था!