रजनी गन्धा
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रचनाकार | रंजना वर्मा |
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इस पन्ने पर दी गई रचनाओं को विश्व भर के स्वयंसेवी योगदानकर्ताओं ने भिन्न-भिन्न स्रोतों का प्रयोग कर कविता कोश में संकलित किया है। ऊपर दी गई प्रकाशक संबंधी जानकारी छपी हुई पुस्तक खरीदने हेतु आपकी सहायता के लिये दी गई है।
इस पुस्तक में संकलित रचनाएँ
- [[वन्दना / रंजना वर्मा
- [[हार कर जो राह पर चलते नहीं हैं / रंजना वर्मा
- [[सभी बताया करते झूठा यह संसार नहीं है / रंजना वर्मा
- [[यह छवि प्रकृत वधू की देखो बहुत निराली है / रंजना वर्मा
- [[तुम गये तो साँस जैसे थम गयी / रंजना वर्मा
- [[अपराध कर के जो उसे स्वीकार कर सकता नहीं / रंजना वर्मा
- [[जिंदगी की ये नदी गहरी नहीं है / रंजना वर्मा
- [[कब तक मन भटकेगा यों ही दुनियाँ के वीराने में / रंजना वर्मा
- [[जीवन का जल जल गया, देह हुई कंकाल / रंजना वर्मा
- [[फूल खुशबू लुटाते चमन के लिये / रंजना वर्मा
- [[दुखों की भीड़ में फँस मुस्कराना भूल मत जाना / रंजना वर्मा
- [[सिर झुका जीना कभी मरना नहीं सीखा / रंजना वर्मा
- [[सुनो साँवरे दूर जाना नहीं / रंजना वर्मा
- [[हार कर जो राह पर चलते नहीं हैं / रंजना वर्मा
- [[जरा सोच अपनी गहन कर रही हूँ / रंजना वर्मा
- [[चारो ओर घना अँधियारा नन्हा दीप जला लेती हूँ / रंजना वर्मा
- [[कुछ दोस्त दुश्मनी भी निभाते हैं आजकल / रंजना वर्मा
- [[लोग जब झूठ की राह चलने लगे / रंजना वर्मा
- [[बड़ा ही अजब देखो संसार है / रंजना वर्मा
- [[कुंजगलियों में भटकती फिर रही हैं गोपियाँ / रंजना वर्मा
- [[है तुम्हारी श्याम सूरत लग रही अभिराम जी / रंजना वर्मा
- [[कृष्ण मधु कपण हित मधुकर बनी है राधिका / रंजना वर्मा
- [[सोच में सच चमकने लगे / रंजना वर्मा
- [[है चाँद उग आया गगन पर चाँदनी सी ही गयी / रंजना वर्मा
- [[कृष्ण बन कर ब्रह्म खेला स्वयं जिसके तीर / रंजना वर्मा
- [[वादा जो किया नाथ निभाने चले आओ / रंजना वर्मा
- [[धूप में जिस्म गलने लगे / रंजना वर्मा
- [[रूठे हो किसलिये मुझे वो बात बताओ / रंजना वर्मा
- [[नभ में बादल बरसने लगे / रंजना वर्मा
- [[यमुना के किनारे जरा वंशी तो बजाओ / रंजना वर्मा
- [[लोग सह पाते नहीं हैं दूसरों का प्यार / रंजना वर्मा
- [[रात दिन राह चलना जरा सीख लें / रंजना वर्मा
- [[हैं पपीहे पिया बिन तड़पने लगे / रंजना वर्मा
- [[आ गया नवरात्र लेकर भक्ति का त्यौहार / रंजना वर्मा
- [[हमेशा की तरह अब भी वही दिन रात आये हैं / रंजना वर्मा
- [[चले आओ तुम्हारे बिन गुजरती ही नहीं रातें / रंजना वर्मा
- [[लोग करते हैं दुरंगा आजकल व्यवहार / रंजना वर्मा
- [[मत किसी की बात को दिल ज़े लगाना / रंजना वर्मा
- [[चलो जुगनुओं की टोली से चलकर हाथ मिलायें / रंजना वर्मा
- [[है भरा जो सुख तुम्हारे प्यार में / रंजना वर्मा
- [[भूल पाते फूल हैं कब खिलखिलाना / रंजना वर्मा
- [[जिंदगी भर पीर को हमने पिया / रंजना वर्मा
- [[मीत का आगमन है मनाने लगी / रंजना वर्मा
- [[कह गया घनश्याम हम को भूल जाना / रंजना वर्मा
- [[चरण में सृष्टि तेरे सर नवाती है / रंजना वर्मा
- [[बहुत दिनों से सता रहीं जो तुम्हारी यादों को थामना है / रंजना वर्मा
- [[लगा कर गम को सीने से वो खुशियाँ छोड़ आये हैं / रंजना वर्मा
47- जिन्दगी भर पीर को हमने पिया / रंजना वर्मा
- [[भरा नफरतों से ज़माना हुआ है / रंजना वर्मा
- [[साँस घुटती रही पर बताया नहीं / रंजना वर्मा
- [[घहर घहर कर उमड़ रहे घन फैल रहा चहुँ दिशि अँधियार / रंजना वर्मा
- [[अनोखा ये माया का चक्कर चला है / रंजना वर्मा
- [[आज अम्बर है बहुत रूठा हुआ / रंजना वर्मा
- [[घनश्याम तेरा नाम जो जपते कभी नहीं / रंजना वर्मा
54 -आपकी महफ़िल नहीं भायी कभी / रंजना वर्मा
- [[दर्द सह कर जो मुस्कुराते हैं / रंजना वर्मा
- [[कन्हैया का जो नाम जपते नहीं हैं / रंजना वर्मा
- [[बसन्ती ये हवा ऐसे हमारा दिल जलाती है / रंजना वर्मा
- [[गलत राह से जो गुजरते नहीं हैं / रंजना वर्मा
- [[कन्हैया जो तेरी चौखट पे आया / रंजना वर्मा
- [[सच है कि तुझे दिल से भुलाते कभी नहीं / रंजना वर्मा
6 / रंजना वर्मा- कुछ लोग जो प्रभु के चरण अनुरागते बिल्कुल नहीं / रंजना वर्मा
- [[आयी तेरी शरण में, विनय करो स्वीकार / रंजना वर्मा
- [[कभी जब वक्त से है जख़्म खाया / रंजना वर्मा
- [[राह पर पाँव जो बढाते हैं / रंजना वर्मा
- [[जहाँ फूल खिल कर बिखरते नहीं हैं / रंजना वर्मा
- [[हैं सत्य के हमराह ठिठकते कभी नहीं / रंजना वर्मा
- [[दर्द दिल के करीब आते हैं / रंजना वर्मा
- [[भाई बन कर जो करे शत्रु सदृश व्यवहार / रंजना वर्मा
- [[दर्द दिल मे दबाये हुए हैं / रंजना वर्मा
- [[कुछ लोग जिंदगी में बिछुड़ते कभी नहीं / रंजना वर्मा
- [[जब चतुर्दिक घोर टीम घिरने लगेगा / रंजना वर्मा
- [[प्रीत हर एक से निभाते हैं / रंजना वर्मा
- [[खुदा फिर कभी दिन न ऐसा दिखाये / रंजना वर्मा
- [[शारदे माँ का मिला वरदान है / रंजना वर्मा
- [[रूबरू दोस्त सारे हुए कम से कम / रंजना वर्मा
- [[राह जब सच की आये हुए हैं / रंजना वर्मा
- [[हर तरफ़ आनन्द का उपवन खिलेगा / रंजना वर्मा
- [[तेरे दरबार मे मोह। मेरा तन दीप जल जाये / रंजना वर्मा
- [[दूरियों में न सजेंगे अब हम / रंजना वर्मा
- [[देश भारत की अनोखी शान है / रंजना वर्मा
- [[साथ छोड़ा सूर्य ने है धूप का चलते हुए / रंजना वर्मा
- [[ईश के चरणों में जिसका ध्यान है / रंजना वर्मा
- [[नयी नेह बस्ती बसाने चली हूँ / रंजना वर्मा
- [[घर स्वर्ग सरीखा आज छोड़ कर आयी हूँ / रंजना वर्मा
- [[खुदा ने है किस्मत में क्या लिख दिया / रंजना वर्मा
- [[खूब सताता पर मेरा हमसाया है / रंजना वर्मा
- [[चार दिन का सुख सदा मेहमान है / रंजना वर्मा
- [[चमक है सितारों की खोने लगी / रंजना वर्मा
- [[देह भवन को तो इस खूब सजाया है / रंजना वर्मा
- [[माँ तुम्हारे द्वार पर मस्तक नवाया बार बार / रंजना वर्मा
- [[घनश्याम साँवरे को निभाना भी चाहिये / रंजना वर्मा
- [[आपकी याद आती रही रात भर / रंजना वर्मा
- [[कभी दूसरों को जो छलते नहीं हैं / रंजना वर्मा
- [[विश्व मे आकर कन्हैया कष्ट पाया बार बार / रंजना वर्मा
- [[करता कैसी मनमानी है / रंजना वर्मा
- [[विश्ववन्द्य यह देश महान / रंजना वर्मा
- [[साँसें जैसे बानी है / रंजना वर्मा
- [[छोड़ जगत झूठा सम्मान / रंजना वर्मा
- [[तुम्हारी याद के किस्से / रंजना वर्मा
- [[बढ़ा दी है नैया तुम्हारे सहारे / रंजना वर्मा
- [[करिये ईश्वर का गुणगान / रंजना वर्मा