नाम मेरा तातारी है
उनीन्दा है
न जाने कहाँ से आया है,
हर मुसीबत से चिपक जाता है
और ख़ुद —
मुसीबत बन जाता है ।
1938 की गर्मियाँ, कमारोवा
मूल रूसी से अनुवाद : अनिल जनविजय
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लीजिए, अब यही कविता मूल रूसी में पढ़िए
Анна Ахматова
Имя
Татарское, дремучее
Пришло из никогда,
К любой беде липучее,
Само оно — беда.
Лето 1938 г. Камарова