1,347 bytes added,
03:30, 25 मई 2021 {{KKGlobal}}
{{KKPustak
|चित्र=
|नाम=तुम्हारे लिए
|रचनाकार=गोपीकृष्ण 'गोपेश'
|प्रकाशक=साहित्य भवन प्राइवेट लिमिटेड, इलाहाबाद
|वर्ष=१९६३
|भाषा=हिन्दी
|विषय=गीत
|शैली=्मुक्त छन्द
|पृष्ठ=११४
|ISBN=
|विविध=
}}
====इस पुस्तक में संकलित रचनाएँ====
* [[कोकिल के स्वर बनकर जैसे आई याद किसी की / गोपीकृष्ण 'गोपेश']
* [[प्यार एक सांस है कि आ गई ! / गोपीकृष्ण 'गोपेश']
* [[इसका निर्णय करो, सितारो ! / गोपीकृष्ण 'गोपेश']
* [[प्यार का गगन उदास हो गया / गोपीकृष्ण 'गोपेश']
* [[तुम्हें पूछता हुआ गगन में उग आया है चाँद / गोपीकृष्ण 'गोपेश']
* [[आधा चैत हुआ कि जैसे पूरा चैत हुआ / गोपीकृष्ण 'गोपेश']]