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घटना / त्रिलोचन
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23:45, 21 फ़रवरी 2010
जिसे मैंने खोजा, पल पल सँवारा स्मरण से,
उसे देखा आँखों, तन मन बिसारे विकल हो,
किसी के पीछे है
.
।
सकल घटना भर्तृहरि कीलिखी देखी आगे
.
।
अगम तम में भी सुगम था ।
</poem>
अनिल जनविजय
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