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जिसकी आँखों में सिर्फ पानी है / कविता किरण
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14:40, 11 जून 2010
जिसकी आँखों में सिर्फ पानी है
वो ग़ज़ल आपको सुनानी है
अश्क कैसे गिरा दूँ पलकों से
मेरे महबूब की निशानी है
Shrddha
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