मैथिली लोकगीत ♦ रचनाकार: अज्ञात
अम्बे अम्बे जय जगदम्बे
जय-जयकार करै छी हे
तीन भुवन के मातु अहाँ छी
तीन नयनसँ तकै छी हे
सिंह पर एक कमल राजित
ताहि ऊपर बइसल छी हे
भूत प्रेत सभ झालि बजाबय
योगिन के नचबइ छी हे
राक्षस के संहार करै छी
दुनियाँ के जुड़बै छी हे