♦ रचनाकार: अज्ञात
ओ म्हारी घूमर छे नखराळी ऐ माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ राजरी घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ म्हाने रमता ने काजळ टिकी लादयो ऐ माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ राजरी घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ म्हाने रमता ने लाडूङो लादयो ऐ माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ राजरी घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ म्हाने परदेशियाँ मत दीजो रे माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ राजरी घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ म्हाने राठोडा रे घर भल दीजो ऐ माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ राजरी घूमर रमवा म्हें जास्यां
ओ म्हाने राठोडा री बोली प्यारी लागे ऐ माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ
ओ राजरी घूमर रमवा म्हें जास्यां
ओ म्हारी घूमर छे नखराळी ऐ माँ
घूमर रमवा म्हें जास्याँ ...