अकेले में
जब भी
घुटने लगता है दम
छटपटाते हैं प्राण
तुम्हारे ही शब्दों पर
उकेर लेती हूँ तुम्हें
और जी उठती हूँ
मैं!!
अकेले में
जब भी
घुटने लगता है दम
छटपटाते हैं प्राण
तुम्हारे ही शब्दों पर
उकेर लेती हूँ तुम्हें
और जी उठती हूँ
मैं!!