गरूड़ नें
गरूड़नी सें कहलकै
एक दिन
शराब पीयै के जुर्म में
गिरफ्तार होलो कैदी सें
जज नें पूछलकै तोंय शराब पील्हैं
कैदी नें कहलकै जी हौं, पीलेॅ छियै ?
जज नें कहलकै शराब पीना जुर्म छै
सरकार नें कानून बनैलकै
वैं कहलकै ऊ प्रतिपक्ष के नेता छिकै
सरकार केॅ विरोध करनाय
ओकरोॅ कर्म छिकै
जनता लेली कुछ कर गुजरनाय
धर्म छिकै
हम्में शराब पिलियै
आरो आपने भी।