Last modified on 17 अप्रैल 2011, at 01:56

बहरापन-2 / ऋषभ देव शर्मा

सड़कों पर
उतर आई है भीड़,
जनता
नक्कारे पीट रही है,
पूछता है कबीर-
बहरे हो गए क्या
ख़ुदा
           लोकतंत्र के !