Last modified on 22 जून 2023, at 20:22

बेहतर प्यार के लिए / रॉक डाल्टन

हर कोई मानता है कि लिंगं
एक श्रेणी विभाजन है प्रेमियों की दुनिया में
इसी से फूटती हैं शाखाएँ कोमलता और क्रूरता की ।

हर कोई मानता है कि लिंगं
एक आर्थिक श्रेणी विभाजन है –
उदाहरण के लिए आप वेश्यावृत्ति को ही लें,
या फ़ैशन को,
या अख़बार के परिशिष्ट को
जो पुरुष के लिए अलग है, औरत के लिए अलग ।

मुसीबत तो तब शुरू होती है,
जब कोई औरत कहती है
कि लिंग एक राजनीतिक श्रेणी विभाजन है ।

क्योंकि ज्यों ही कोई औरत कहती है
कि लिंग एक राजनीतिक श्रेणी विभाजन है
तो वो जैसी है, वैसी औरत होने पर लगा सकती है विराम
और अपने आप की ख़ातिर एक औरत होने की कर सकती है शुरुआत,
औरत को एक ऐसी औरत में ढालने की
जिसका आधार उसके भीतर की मानवता हो
उसका लिंग नहीं ।

वह जान सकती है कि नीम्बू की महकवाला जादुई इत्र
और उसकी त्वचा को कमनीयता से सहलानेवाला साबुन
वही कम्पनी बनाती है जहाँ बनता है नापाम बम,
कि घर के सभी ज़रूरी काम
परिवार के एक ही सामाजिक समुदाय की ज़िम्मेदारी है,
कि लिंग की भिन्नता
प्रणय के अन्तरंग क्षणों में तभी परवान चढ़ती है
जब परदा उठ जाता है उन सारे रहस्यों से
जो मजबूर करते हैं मुखौटा पहनने पर और पैदा करते हैं आपसी मनमुटाव ।

अँग्रेज़ी से अनुवाद :

लीजिए, अब इस कविता को अँग्रेज़ी अनुवाद में पढ़िए
             Roque Dalton’s
        Toward a Better Love


“Sex is a political condition.” — Kate Millet

No one disputes that sex
is a condition in the world of the couple:
from there, tenderness and its wild branches.

No one disputes that sex
is a domestic condition:
from there, kids,
nights in common
and days divided
(he, looking for bread in the street,
in offices or factories;
she, in the rear guard of domestic functions,
in the strategy and tactic of the kitchen
that allows survival in a common struggle
at least to the end of the month).

No one disputes that sex
in an economic condition:
it’s enough to mention prostitution,
fashion,
the sections in the dailies that are only for her
or only for him.

Where the hassles begin
is when a woman says
sex is a political condition.

Because when a woman says
sex is a political condition
she can begin to stop being just a woman in herself
in order to become a woman for herself,
establishing the woman in woman
from the basis of her humanity
on not of her sex,
knowing that the magic deodorant with a hint of lemon
and soap that voluptuously caresses her skin
are made by the same manufacturer that makes napalm
knowing the labors of the homes themselves
are labors of a social class to which that home belongs,
that the difference between the sexes
burns much better in the loving depth of night
when all those secrets that kept us
masked and alien are revealed.