राम की भक्ति करूँ
तो धर्म की आराधना होगी
कृष्ण की भक्ति करूँ
तो प्रेम की उपासना होगी
मातृ की भक्ति करूँ
तो कत्र्तव्य को पालना होगा
समाज की भक्ति करूँ
तो समाज-सेवा की भावना होगी
और तुम्हारी भक्ति करूँ
तो प्रेम की वासना क्यों होगी ?
राम की भक्ति करूँ
तो धर्म की आराधना होगी
कृष्ण की भक्ति करूँ
तो प्रेम की उपासना होगी
मातृ की भक्ति करूँ
तो कत्र्तव्य को पालना होगा
समाज की भक्ति करूँ
तो समाज-सेवा की भावना होगी
और तुम्हारी भक्ति करूँ
तो प्रेम की वासना क्यों होगी ?