लड़कियां
अब जुबान खोलने लगी हैं
दायरे तोड़ने लगी हैं
कुछ बोलने लगी हैं
बहुत-कुछ करना चाहती हैं
सबसे पहले
तलाशना चाहती हैं एक साथी
जताना चाहती हैं
मौलिक प्रेम
लेती हैं फैसला अपने-आप।
लड़कियां
अब जुबान खोलने लगी हैं
दायरे तोड़ने लगी हैं
कुछ बोलने लगी हैं
बहुत-कुछ करना चाहती हैं
सबसे पहले
तलाशना चाहती हैं एक साथी
जताना चाहती हैं
मौलिक प्रेम
लेती हैं फैसला अपने-आप।