Changes

|संग्रह=राम जी भला करें / अनिल जनविजय
}}
{{KKCatKavita‎}}<poem>
भोजन के वक़्त
 
गस्सा चबाते हुए
 
दाँतों के बीच
 
जैसे महसूस हो किरकिरी
 
वैसे हैं मुक्तिबोध
 
हिन्दी कविता में
 
(1980 में रचित)
</poem>
Delete, Mover, Protect, Reupload, Uploader
53,693
edits