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कभी होठों पे दिल की बेबसी लाई नहीं जाती / गुलाब खंडेलवाल
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23:03, 3 जुलाई 2011
कुछ ऐसी बात है जो कहके बतलायी नहीं जाती
न यों मुंह फेरकर सो जा, मेरी
तकदीर
तक़दीर
के मालिक!
कहानी ज़िन्दगी की फिर से दुहरायी नहीं जाती
नहीं जाती, गुलाब! उन शोख़ आँखों की महक दिल से
हमारे
आईने
आइने
से अब वो परछाईं नहीं जाती
<poem>
Vibhajhalani
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