Changes

आस फले / कविता भट्ट

259 bytes added, 18:37, 30 जुलाई 2020
{{KKCatKavita}}
<poem>
1
'''इक बार चले आओ'''
'''तुमसे लिपटूँगी'''
'''अब आस फले आओ'''
(11-2-19)2खुशबू बनकर रहनामन के आँगन में वासंती -सा बहना।3'''जब से तुम आए होजीवन है बगिया माली -से भाए हो।'''
<poem>