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07:34, 10 जुलाई 2009 {{KKGlobal}}
{{KKRachna
|रचनाकार=श्याम सुन्दर अग्रवाल
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[[Category:बाल-कविताएँ]]
<poem>
काले-काले बादल आए,v
छाई घटा घनघोर।<br>
चमक-चमक के बिजली गरजी, <br>
खूब मचाया शोर।<br>
लगी चहकने चिड़िया रानी, <br>
नाची खूब गिलहरी।<br>
बच्चों ने इतना शोर मचाया,
दादी हो गई बहरी।<br>
***