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12:22, 23 जुलाई 2009 संगीतकार : हेमंत<br />
गीतकार : प्रदीप <br />
गायक : रफी <br />
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हम लाये हैं तूफ़ान से किश्ती निकाल के<br />
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पासे सभी उलट गए दुश्मन कि चाल के<br />
अक्षर सभी पलट गए भारत के भाल के<br />
मंजिल पे आया मुल्क हर बला को टाल के<br />
सदियों के बाद फ़िर उड़े बादल गुलाल के<br />
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हम लाये हैं तूफ़ान से किश्ती निकाल के<br />
इस देश को रखना मेरे बच्चो संभाल के<br />
तुम ही भविष्य हो मेरे भारत विशाल के<br />
इस देश को रखना मेरे बच्चो संभाल के<br />
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देखो कहीं बरबाद न होवे ये बगीचा <br />
इसको हृदय के खून से बापू ने है सींचा<br />
रक्खा है ये चिराग शहीदों ने बाल के<br />
इस देश को रखना मेरे बच्चो संभाल के<br />
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दुनियां के दांव पेंच से रखना न वास्ता <br />
मंजिल तुम्हारी दूर है लंबा है रास्ता <br />
भटका न दे कोई तुम्हें धोके मे डाल के<br />
इस देश को रखना मेरे बच्चो संभाल के<br />
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एटम बमों के जोर पे ऐंठी है ये दुनियां <br />
बारूद के इक ढेर पे बैठी है ये दुनियां <br />
तुम हर कदम उठाना जरा देखभाल के<br />
इस देश को रखना मेरे बच्चो संभाल के<br />
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आराम की तुम भूल भुलय्या में न भूलो <br />
सपनों के हिंडोलों मे मगन हो के न झुलो<br />
अब वक़्त आ गया मेरे हंसते हुए फूलो<br />
उठो छलांग मार के आकाश को छु लो<br />
तुम गाड़ दो गगन मे तिरंगा उछाल के <br />
इस देश को रखना मेरे बच्चो संभाल के <br />