विश्व वन्द्य यह देश महान ।
अपना प्यारा हिंदुस्तान।।
ईश्वर ही मानो साकार
गुरु जो देता अनुपम ज्ञान।।
यहीं पधारे गौतम कृष्ण
यही जन्म लेते हनुमान।।
दक्षिण दिशि सागर का शोर
उत्तर में हिमगिरि की शान।।
गंग जमुन नदियाँ गल हार
कैसे शोभा करूँ बखान।।
भरा ज्ञान से है साहित्य
करे जगत इसका सम्मान।।
सत्य अहिंसा हैं आदर्श
विश्व गगन में ज्योतिर्मान।।