व्यापार
छोटा-मोटा ही
शुरू करना चाहते हो तो झिझक कैसी
उठो! करो शुरूआत अब
सबसे पहले फेंको
यह ओढ़ा हुआ शर्म का लबादा
वहीं ठीक घर के सामने की सड़क पर
और अब प्रतीक्षा करो
देखो!
कोई पूछता हुआ आ रहा है
उस लबादे की कीमत
और उसी तरह के अन्य लबादों की ज़रूरत के बारे में
उसे एक फैन्सी ड्रेस प्रतियोगिता में
अपने बच्चे को एक डरा हुआ निम्न मध्य वर्गीय नागरिक बनाना है
जो अपने खोल से कभी बाहर नहीं निकलता
तलाश में रहता है एक तय रक़म वाली सुरक्षित नौकरी की
जिसके जीवन में सब कुछ पहले से तय है
यहां तक कि उसके आकाश में उड़ने वाले पंछियों की संख्या भी
उसके जीवन के विविध् रंग भी
कुल मिलाकर ब्लैक एंड व्हाइट से अलहदा नहीं हैं
इन दिनों जब
नौकरियां लुप्त हो गई हों
कुछ तो करना ही पड़ेगा
चलो शुरू करो छोटा-मोटा व्यापार ही सही
वह भी बगैर किसी लबादे के ।