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शून्य-2 / प्रदीप जिलवाने

शून्य एक भरोसा है
अपने कहे के समर्थन में

मैंने एक उड़ती चिड़िया
की तरफ इशारा किया।

चिड़िया जिसके लिए उसका शून्य ही
आज का भरोसा
कल की आश्वस्ति है
अपने शून्य में ही अपना दिगन्त देखती है

शून्य क्या है?
उनसे पूछिए
जिनके पास शून्य भी नहीं होता।

शून्य एक भरोसा है
और यह उतना ही सच है
जितना यह कि भरोसा एक शून्य नहीं।