(राग ईमन)
सत्य वचन हितकर मधुर परिमित, नित स्वाध्याय।
विद्या-विनय-विवेक-युत, शान्त-हृदय, रत-न्याय॥
शम-दम-श्रद्धा-त्याग, शुचि, निरत नित्य शुभ-कर्म।
अध्ययनाध्यापन, यजन-याजन ब्राह्मण-धर्म॥
(राग ईमन)
सत्य वचन हितकर मधुर परिमित, नित स्वाध्याय।
विद्या-विनय-विवेक-युत, शान्त-हृदय, रत-न्याय॥
शम-दम-श्रद्धा-त्याग, शुचि, निरत नित्य शुभ-कर्म।
अध्ययनाध्यापन, यजन-याजन ब्राह्मण-धर्म॥