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समय का चेहरा / हरजेन्द्र चौधरी

कुत्ते को घास खाते
गाय को हड्डी चबाते
देखा मैंने
आज शाम
कूड़ाघर के पास

भूख के सिर बंधेगा परिवर्तन का सेहरा
कैसा-कैसा होता जा रहा
समय का चेहरा...

रचनाकाल : 14 जून 1993, नई दिल्ली