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सम्बन्ध / हरीश बी० शर्मा


मना‘र रिध-सिध नैं
थापना हुई
थरपीज्या गणपति
नेवैद्य-परसादी
दखणा-उच्छब
च्यारूंमेर मनाइज्या,
लोकाचार निभाइज्या,
 
लैरको आयो
फूट पड़गी
गया जिका कैवत में कैइज्या
गद्दार
दूसरै में रळयां, बणा लियो
नूंवो सरदार
जनता देखी,
फेर एक बार
नूंवी सरकार।
नूंवी सरकार।।