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देवी की माया / अनिल जनविजय

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रचनाकारः अनिल जनविजय

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देवी जी की माया है उत्तरप्रदेश में ।

लक्ष्मी ने धंधा फैलाया है इस वेश में ।।


लाओ रुपया, लाओ रुपया, लाओ रुपया ।

यही ख़बर आती है उसके हर संदेश में ।।


घर असबाब साथ लिए घूमा करते हैं ।

नौकरशाही को हड़काया है उसने प्रदेश में ।।


जनता को सूली पर टाँगा, पैसे को बाप बनाया ।

उसने हाहाकार मचाया मुख्यनेत्री के भेष में ।।


दलित सवर्णों, सवर्ण दलितों का राज है देखो ।

मलेच्छों ने हाथ मिलाया है अब इस देश में ।।


(2002)