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सबके पास हैं शब्द / नवनीत पाण्डे
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उसके मूंह से निकला
सही समय और अवसर पर
एक शब्द
सबने कहा वाह!
क्या कविता है?
सबके पास हैं शब्द
पर कितनों के शब्द
बन पाते हैं कविता...